Cooks will be able to make mid-day meal only after installing Covid-19, Education Department has issued new guidelines
प्रयागराज, कोरोना वायरस का संक्रमण एक बार फिर धीरे-धीरे बढ़ने लगा है। कोरोना संक्रमण का असर शुरू होने के साथ ही परिषदीय स्कूल खुल गए हैं। बच्चों को कोरोना संक्रमित से बचाने की चुनौती भी है। इसके लिए बेसिक शिक्षा विभाग सतर्कता बरत रहा है। ऐसे उपाय किए जा रहे हैं जिससे कोरोना संक्रमण बच्चों को छू भी न सके। मिडडे मील बनाने वाली रसोइयों को सख्त हिदायद दी गई है, क्योंकि इसी मिडडे मील को बच्चे खाते हैं। तो आइए जानें प्रयागराज में शिक्षा विभाग ने कोरोना को फैलने से रोकने की अन्य क्या तैयारी की है।
स्कूल के शिक्षक व विद्यार्थियों को मास्क लगाना आवश्यक : परिषदीय स्कूलों के शिक्षक व विद्यार्थियों के लिए मास्क लगाना शिक्षा विभाग ने अनिवार्य कर दिया है। मिडडे मील बनाने वाली रसोइयों के लिए खास निर्देश है। रसोइयों को कोविड-19 का टीका लगवाना अनिवार्य है। टीका न लगवाने वाले से मिडडे मील नहीं बनवाया जाएगा। क्योंकि इन्हीं के बनाए भोजन बच्चे खाते हैं। संक्रमण को रोकने के लिए ऐसा निर्देश दिया गया है।
बीएसए ने बीईओ को कोविड गाइडलाइन पालन सख्त निर्देश दिए : बीएसए प्रवीण कुमार तिवारी ने खंड शिक्षाधिकारियों को पत्र लिखकर कोविड-19 गाइडलाइन, निर्देशों का पालन सुनिश्चित कराने का सख्त निर्देश दिया है। उन्होंने बताया कि विद्यालय में प्रवेश करने से पहले रसाेइया को साबुन से हाथ धुलकर सैनिटाइज करना होगा। रसोई घर में मास्क पहनना अनिवार्य है। विद्यालय परिसर में रसोइया के आभूषण पहनने पर रोक लगाई गई है। मध्याह्न भोजन के पूर्व एवं पश्चात हाथ धुलने के समय बच्चे आपस में छह फीट की दूरी पर रहने, भोजन पकाने की प्रक्रिया में एकत्रित कूड़े को ढक्कनदार कूड़ेदान में डालने, विद्यालय परिसर में गंदे पानी का जमाव रोकने का निर्देश दिया गया है।
मिडडे मील से पूर्व बच्चों को साबुन से हाथ धुलवाएं प्रधानाध्यापक : बीएसए ने निर्देश दिया है कि परिषदीय विद्यालयों के प्रधानाध्यापक भोजन वितरण से पूर्व बच्चों को पंक्तिबद्ध तरीके से निर्धारित दूरी का पालन करते हुए हाथों को साबुन से धुलवाएं। उन्हें कतार में बैठाकर भोजन परोसें। हाथ धुलने के बाद किसी कपड़े से पोछने के बजाय हवा में सुखाने के लिए प्रेरित करें।