नई दिल्ली, विशेष संवाददाता। एकीकृत पेंशन योजना (यूपीएस) पर कैबिनेट की मुहर लगाने से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार शाम संयुक्त परामर्शदात्री तंत्र (जेसीएम) के प्रतिनिधिमंडल से अपने आवास पर मुलाकात की।
प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व कर रहे जेसीएम के सचिव शिव गोपाल मिश्रा ने 'हिन्दुस्तान' को बताया कि प्रधानमंत्री ने जेसीएम की लगभग सभी मांगों को मान लिया है। भारत में पहली बार ऐसा हुआ कि प्रधानमंत्री ने जेसीएम को बुलाकर उनसे चर्चा की। जेसीएम 32 लाख केंद्रीय कर्मचारियों का प्रतिनिधित्व करता है।
जेसीएम ने कहा कि उनके लिए यह गौरवपूर्ण क्षण है। प्रधानमंत्री मोदी के साथ सौहार्दपूर्ण वातावरण में चर्चा हुई। प्रधानमंत्री ने एकीकृत पेंशन योजना लागू कर कर्मियों के भविष्य को सुरक्षित बनाया है। हमें आशा है
■ पहली बार ऐसा हुआ कि प्रधानमंत्री ने जेसीएम के साथ चर्चा की जेसीएम 32 लाख केंद्रीय कर्मचारियों का प्रतिनिधित्व करता है
कि राज्य सरकार भी यूपीएस पर अमल करना शुरू करेगी। यूपीएस में 2004 में सेवानिवृत्त कर्मी को एरियर ब्याज सहित मिलेगा। इसके अलावा फैमली पेंशन 60 प्रतिशत दी जाएगी। इसके अलावा न्यूनतम पेंशन 10,000 रुपये प्रति माह दी जाएगी। जेपीएम पिछले कई वर्षों से पुरानी पेंशन को लेकर आंदोलनरत थी। जिसे प्रधानमंत्री ने संज्ञान में लिया और हमारी मांगों को पूरा किया। इसके लिए कर्मचारी संघ उनका आभार व्यक्त करता है।
प्रधानमंत्री ने बायो ई 3 नीति को ऐतिहासिक पहल बताया। उन्होंने कहा कि यह आने वाले समय में वैज्ञानिक, औद्योगिक और सामाजिक प्रगति को प्रोत्साहित करेगी।
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