👇Primary Ka Master Latest Updates👇

आयकर पूरी तरह खत्म करेंगे : ट्रंप

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दावा किया है कि टैरिफ से इतना पैसा जुटाया जा सकता है कि आयकर को पूरी तरह खत्म किया जा सकता है। फॉक्स न्यूज को दिए साक्षात्कार में ट्रंप ने यह बात कही।
उन्होंने कहा कि वर्ष 1870 से 1913 तक अमेरिका टैरिफ से ही चलता था, और तब हम सबसे अमीर थे। आज टैरिफ से इतना पैसा आ सकता है कि आयकर की जरूरत ही न पड़े। ट्रंप की इस योजना के लिए संसद की मंजूरी जरूरी होगी।

फेडरल रिजर्व ने चेताया : अमेरिकी फेडरल रिजर्व के चेयरमैन जेरोम पॉवेल ने चेतावनी दी है कि नए टैरिफ के कारण अमेरिका की अर्थव्यवस्था को भारी नुकसान होगा और आम लोगों को सामान की कीमतों में उछाल झेलना पड़ेगा।

चीन बोला, आंकड़ों के खेल पर कोई ध्यान नहीं देंगे : अमेरिका और चीन के बीच चल रहे टैरिफ विवाद के बीच, गुरुवार को बीजिंग ने कहा कि अगर वाशिंगटन टैरिफ नंबर्स गेम खेलना जारी रखता है, तो चीन इस पर कोई ध्यान नहीं देगा। चीन के विदेश मंत्रालय की यह टिप्पणी व्हाइट हाउस के उस बयान के जवाब में आई है जिसमें कहा गया था कि चीन को अपनी जवाबी कार्रवाई के कारण 245% तक टैरिफ का सामना करना पड़ेगा। इस बीच अमेरिका ने चीन की तेल रिफाइनरी कंपनी पर प्रतिबंध लगा दिया है।

फिच ने भारत का वृद्धि अनुमान घटाया: फिच रेटिंग्स ने चालू वित्त वर्ष 2025-26 के लिए भारत के जीडीपी के वृद्धि दर अनुमान को घटाकर 6.4 प्रतिशत कर दिया है। फिच ने भारत के संदर्भ में वित्त वर्ष 2024-25 और चालू वित्त वर्ष 2025-26 के लिए जीडीपी वृद्धि अनुमान को घटाकर क्रमश: 6.2 प्रतिशत और 6.4 प्रतिशत कर दिया है। वित्त वर्ष 2026-27 के लिए वृद्धि दर 6.3 प्रतिशत पर बरकरार रखी है।

आकलन कर रहा भारत: रसायन एवं पेट्रोरसायन सचिव निवेदिता शुक्ला वर्मा ने कहा कि सरकार अब भी देश के रसायन और पेट्रोरसायन उद्योग पर अमेरिकी शुल्क के प्रभाव का आकलन कर रही है।

वर्मा ने कहा, हम अब भी आकलन कर रहे हैं। हम उद्योग जगत के लोगों के संपर्क में हैं और यह पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं कि इसका हमारे उद्योग पर क्या प्रभाव होगा। हालांकि 10 प्रतिशत का मूल शुल्क अब भी लागू है।

वर्मा ने कहा कि सरकार उद्योग जगत के साथ विचार-विमर्श के बाद उपाय निर्धारित करेगी।

उद्योग के आंकड़ों के अनुसार, अमेरिका को भारत के कुल निर्यात में रसायन की हिस्सेदारी करीब 18 प्रतिशत है।

====================================================

नई दिल्ली, एजेंसी। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने गुरुवार को कहा कि भारत दुनियाभर में जारी व्यापार रणनीतियों में बदलाव के बीच वैश्विक चुनौतियों से निपटने के लिए उपयुक्त नीतियों और दीर्घकालिक दृष्टिकोण पर ध्यान केंद्रित करेगा। सीतारमण ने शेयर बाजार बीएसई की 150वीं वर्षगांठ के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में कहा कि शुल्क युद्ध बढ़ने और संरक्षणवादी नीतियों को अपनाने से वैश्विक आपूर्ति व्यवस्था बाधित हो सकती है। साथ ही उत्पादन लागत में वृद्धि और सीमापार निवेश निर्णयों में अनिश्चितता पैदा होने की भी आशंका है।




उन्होंने कहा, भारत को भरोसा है, हम चुस्त और उपयुक्त नीतिगत उपायों और दीर्घकालिक दृष्टिकोण के साथ इन वैश्विक चुनौतियों से निपटने में कामयाब होंगे। वित्त मंत्री ने कहा, व्यापार को लेकर रणनीतियों में बदलाव के प्रयास बहुत चुनौतीपूर्ण है, यह चिंताजनक के साथ बहुत चुनौतीपूर्ण भी है। उन्होंने कहा कि दुनिया की मौजूदा स्थिति अस्थिर, अनिश्चित और जटिल बनी हुई है। देश अपनी मजबूत वृहद आर्थिक बुनियाद के साथ इस माहौल में मजबूती के साथ खड़ा है।

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ

Politics news of India | Current politics news | Politics news from India | Trending politics news,